RO.No. 13047/ 78
राष्ट्रीय-अन्तर्राष्ट्रीय

पाकिस्तान से खड़ी की खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स, ISI के हाथों का खिलौना है रंजीत सिंह नीता

नई दिल्ली
उत्तर प्रदेश के पीलीभीत में मारे गए तीन खालिस्तानी आतंकियों को लेकर खुलासा हुआ है कि ये खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स नाम के आतंकी संगठन से जुड़े थे। इस संगठन के बारे में पंजाब पुलिस के डीजीपी गौरव यादव का कहना है कि इसका गठन रंजीत सिंह नीता ने किया है, जो जम्मू का रहने वाला है, लेकिन लंबे समय से पाकिस्तान में बसा है। अब तक मिली जानकारी के अनुसार जम्मू के सिंबल कैंप का रहने वाला रंजीत सिंह नीता फिलहाल पाकिस्तान में है और उसने आईएसआई की मदद से खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स नाम का संगठन खड़ा किया है।

यह खालिस्तानी गुट लोगों को बरगलाता है और उनमें कट्टरता भरने के बाद भर्ती कर लेता है। इसमें बड़ी संख्या में शामिल लोग जम्मू के ही रहने वाले हैं, जिन्हें नीता ने ही कट्टरपंथ के दलदल में धकेल दिया। पंजाब और जम्मू-कश्मीर पुलिस के अधिकारियों का कहना है कि नीता ने 1980 के दशक में ही पाकिस्तान में अपने लिंक बना लिए थे। उसने जम्मू इलाके के सिंबल कैंप, आरएस पुरा जैसे इलाकों में अपनी पकड़ बनाई, जहां सिखों की अच्छी आबादी थी। इसके बाद 1990 के दशक में तो वह पाकिस्तान में ही जाकर बस गया और फिर खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स जैसा संगठन ही खड़ा कर दिया।

यह संगठन उस दौर में बसों और ट्रेनों को टारगेट करता था, जो दिल्ली या पंजाब आती जाती थीं। यही नहीं इसने अपना रूप एक दशक बाद फिर से बदला और धार्मिक नेताओं को टारगेट करने लगा। खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स ने ही 2009 में रुलदा सिंह का कत्ल कर दिया था, जो राष्ट्रीय सिख संगत के प्रमुख थे। यही नहीं विएना में संत रामानंद की हत्या में भी इसका ही हाथ था। फिर 2017 के बाद से इसके निशाने पर पुलिस थाने और उसके अधिकारी रहे हैं।

अमेरिका, कनाडा समेत कई देशों में है मौजूदगी
कई सूत्रों का कहना है कि इसने लगातार पुलिस थानों पर हमले किए हैं और इसके बारे में जानकारी मिली तो पुलिस ऐक्टिव हो गई। यहां तक कि पीलीभीत तक संपर्क साधा गया, जहां खालिस्तानी आंदोलन के दौर में भी आतंकवाद बढ़ा था। इस बार भी ऐसा हुआ और इन आतंकियों के तार पीलीभीत तक जुड़े पाए गए। अंत में यूपी पुलिस के सहयोग से तीन लोगों को मार गिराया गया। आने वाले दिनों में खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स से जुड़े लोगों के खिलाफ ऐक्शन और तेज हो सकता है। खालिस्तान जिंदाबाद फोर्स भारत में प्रतिबंधित है, लेकिन इसकी मौजूदगी अमेरिका, ब्रिटेन, ऑस्ट्रिया, कनाडा, बेल्जियम, नेपाल, इटनी और स्विट्जरलैंड जैसे देशों में भी है।

Dinesh Kumar Purwar

Editor, Pramodan News

RO.No. 13047/ 78

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button