श्री शंकराचार्य प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी में,लंग्स कैंसर पर शोध परियोजना को मिली स्वीकृति
शोध कार्य एम्स नागपुर और श्री शंकराचार्य प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी के फार्मेसी विभाग के द्वारा संयुक्त से किया जाएगा

भिलाई-स्थानीय श्री शंकराचार्य प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी में भारतीय आयुर्विज्ञान परिषद के सहयोग से लंग्स कैंसर के इलाज के लिए एक वृहद परियोजना को हरी झंडी मिली है। इसके लिए परिषद ने लगभग 61 लाख रुपए मंजूर किए है।यह शोध कार्य एम्स नागपुर और श्री शंकराचार्य प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी के फार्मेसी विभाग के द्वारा संयुक्त से किया जाएगा। एम्स नागपुर के डॉ सत्येंद्र चंद्र त्रिपाठी और एस एस पी यू के डॉ वैभव तिवारी इस शोध परियोजना के निर्देशक हैं।
डॉ वैभव तिवारी ने बताया कि पारंपरिक भारतीय चिकित्सा ज्ञान और आधुनिक फार्मास्युटिकल नैनो तकनीक के संयुक्त प्रयोगों पर हम लंग्स कैंसर के इलाज के लिए कारगर औषधि बनाने जा रहें है। इसके लिए हमें एम्स नागपुर का भी सहयोग मिलेगा ही साथ ही श्री शंकराचार्य प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी के फार्मेसी विभाग में विकसित एडवांस नैनो डिलीवरी सिस्टम की महत्वपूर्ण भूमिका रहेगी। इस परियोजना के लिए भारतीय आयुर्विज्ञान परिषद ने आर्थिक सहयोग दिया है।परिषद की वर्ल्ड चैलेंज प्रोजेक्ट के लिए इस प्रस्ताव का चयन होना छत्तीसगढ़ प्रदेश के लिए गौरव की बात है।
शोध निर्देशक एम्स नागपुर के डॉ सत्येंद्र चंद्र त्रिपाठी ने कहा कि भारतीय चिकित्सा के क्षेत्र में यह एक क्रांतिकारी कदम है कि नैनो मेडिसिन को कैंसर के इलाज के लिए लाया जा रहा है,जो भारत में जैव चिकित्सा के लिए मिल का पत्थर है।इस के अंतर्गत पेप्टाइड संयोगमन तकनीक और पंच गव्य आधारित क्वांटम नैनो करियर्स को एकीकृत करना है।
विश्वविद्यालय के कुलाधिपति आई पी मिश्रा ने फार्मेसी विभाग के शोध कार्यों की सराहना करते हुए चिकित्सा छात्रों को इससे प्रेरणा लेने और नवाचार में मेहनत करने को कहा । कुलपति डॉ ए के झा, कुलसचिव डॉ स्मिता सिलेट, डायरेक्टर विकास डॉ सुशील चंद्र तिवारी,फार्मेसी विभाग के प्राध्यापक डॉ स्वर्णली दास पॉल,डॉ हेमंत बड़वैक,डॉ गुंजन जैसवानी, देवेंद्र साहू डॉ सागर अग्निहोत्री सहित विश्वविद्यालय परिवार ने बधाई दी हैं।