राष्ट्रीय-अन्तर्राष्ट्रीय

रिपोर्ट में बड़ा खुलासा: बांग्लादेश में पांच साल में हिंदुओं पर 3582 हमले, 2024 में 2.06 लाख भारतीयों ने नागरिकता छोड़ी

नई दिल्ली 
संसद में शुक्रवार को पेश हुई सरकारी रिपोर्ट ने एक साथ कई अहम मुद्दों  नागरिकता त्याग, विदेशों में हिंदू समुदाय और भारतीयों पर हमले, चीन के साथ सीमा विवाद, राष्ट्रीय सुरक्षा, स्वास्थ्य योजनाओं में अनियमितताएं और प्रधानमंत्री के रेडियो कार्यक्रम से हुई कमाई पर विस्तृत जानकारी दी।

2.06 लाख भारतीयों ने 2024 में छोड़ी नागरिकता 
विदेश राज्य मंत्री कीर्तिवर्धन सिंह ने लोकसभा में बताया कि वर्ष 2024 में  2,06,378 भारतीयों ने अपनी नागरिकता छोड़ी जबकि 2023 में यह संख्या 2,16,219  थी। पिछले पांच वर्षों में यह आंकड़ा बढ़कर  8.96 लाख तक पहुंच गया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि नागरिकता छोड़ने या विदेशी नागरिकता अपनाने के कारण पूरी तरह व्यक्तिगत होते हैं और सरकार इसका कोई आधिकारिक रिकॉर्ड नहीं रखती कि लोग किन वजहों से देश छोड़ रहे हैं।
 
विदेशों में हिंदुओं पर हमले और मंदिरों में तोड़फोड़ 
    राज्यसभा में पेश रिपोर्ट के अनुसार बांग्लादेश में 2021 से अब तक हिंदुओं पर 3,582 हमले  दर्ज किए गए हैं।
     हमले विशेष रूप से रंगपुर और चटगांव जैसे इलाकों में अधिक हुए हैं।
     पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों पर हिंसा के  334 मामलों को भारत ने आधिकारिक तौर पर इस्लामाबाद के समक्ष उठाया है।
     अमेरिका में 2024 में हिंदू मंदिरों में तोड़फोड़ के  5 मामले सामने आए, जबकि कनाडा में 4 और ब्रिटेन में भी हमलों के मामले दर्ज हुए।

चीन के कब्जे में  भारतीय जमीन 
सरकार ने पुष्टि की कि 1962 के भारत-चीन युद्ध के अंत में चीन ने 38,000 वर्ग किलोमीटर भारतीय क्षेत्र पर अवैध कब्जा कर लिया था और यह स्थिति अब तक बनी हुई है।भारत ने सीमा विवाद सुलझाने के लिए कई दौर की कूटनीतिक और सैन्य वार्ताएं की हैं, लेकिन समाधान अभी भी दूर है।

लालमोनिरहाट एयरबेस पर भारत की नजर 
बांग्लादेश के लालमोनिरहाट एयरबेस को लेकर मिली रिपोर्टों का भारत ने संज्ञान लिया है। विदेश राज्य मंत्री सिंह ने कहा कि सरकार राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े हर पहलू पर सतर्क और सक्रिय है।संसद में सवाल पूछा गया था कि क्या बांग्लादेश ने इस एयरबेस से चीन को सैन्य गतिविधियां शुरू करने की अनुमति दी है इस पर मंत्री ने कोई सीधा जवाब नहीं दिया, लेकिन कहा कि स्थिति पर नज़र रखी जा रही है।

Dinesh Kumar Purwar

Editor, Pramodan News

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