राष्ट्रीय-अन्तर्राष्ट्रीय

दिल्ली धमाके का इंटरनेशनल लिंक! उमर-मुजम्मिल की तुर्की यात्रा से खुला बड़ा राज

नई दिल्ली 
राजधानी दिल्ली में हुए धमाके के तार अब तुर्की से जुड़ते नजर आ रहे हैं। खबर है कि डॉक्टर मोहम्मद उमर और डॉक्टर मुजम्मिल शकील के पासपोर्ट में तुर्की यात्रा का पता चला है। हालांकि, पुलिस या जांच एजेंसियों की तरफ से इसे लेकर आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कहा है। जिस i20 कार में सोमवार शाम धमाका हुआ, उसे तब उमर ही चला रहा था। उमर के तार हरियाणा के फरीदाबाद से पकड़े गए टेरर मॉड्यूल से जोड़े जा रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, सूत्र बताते हैं कि जांचकर्ता दिल्ली धमाके के संभावित तुर्की कनेक्शन की जांच कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि उमर और मुजम्मिल कुछ टेलीग्राम ग्रुप से जुड़ने के कुछ समय बाद ही तुर्की गए थे। उन्होंने यह भी बताया कि एक हैंडलर ने पूरे भारत में डॉक्टर मॉड्यूल फैलाने के निर्देश दिए गए थे। खास बात है कि उस दौरान टारगेट लोकेशन भी सौंपी गई थी, जिसमें फरीदाबाद और सहारनपुर शामिल थे।

टेलीग्राम से खुलेगा राज
रिपोर्ट के मुताबिक, जांचकर्ताओं को दो टेलीग्राम समूहों का पता चला है, जिनके जरिए डॉक्टर मॉड्यूल तैयार किया गया था। रिपोर्ट के अनुसार, इनमें से एक को जैश-ए-मोहम्मद का ऑपरेटिव उमर बिन खत्तब पाकिस्तान से चलाता है। अधिकारी जानकारी जुटा रहे हैं कि हैं कि वो हैंडलर्स से कहां पर मिले होंगे। फिलहाल, इसे लेकर आधिकारिक तौर पर पुलिस की ओर से जानकारी नहीं दी गई है।

लाल किला की टोह ले रहा था डॉक्टर मुजम्मिल
पीटीआई भाषा के मुताबिक, सफेदपोश आतंकी मॉड्यूल के संबंध में गिरफ्तार किए गए प्रमुख संदिग्धों में से एक डॉ. मुजम्मिल गनई ने इस साल जनवरी में लाल किला क्षेत्र की कई बार टोह ली थी। उसके मोबाइल डेटा का विश्लेषण कर रही पुलिस ने यह जानकारी दी। पुलिस ने बताया कि उन्हें संदेह है कि यह रेकी 26 जनवरी को ऐतिहासिक स्मारक को निशाना बनाने की एक बड़ी साजिश का हिस्सा थी, जो उस समय क्षेत्र में गहन गश्त के कारण विफल हो गई होगी।

एजेंसी के अनुसार, पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम उजागर न करने की शर्त पर बताया कि डॉ. मुजम्मिल के मोबाइल फोन से प्राप्त ‘डंप डेटा’ के विश्लेषण से पता चला है कि जनवरी के पहले सप्ताह में लाल किला क्षेत्र में और उसके आसपास उसकी बार-बार उपस्थिति थी। उन्होंने बताया कि डॉ. मुजम्मिल ने अपने साथी डॉ. उमर नबी के साथ सुरक्षा व्यवस्था और भीड़ की प्रवृत्ति का पता लगाने के लिए कई बार लाल किले का दौरा कर किया। टावर लोकेशन डेटा और आसपास के इलाकों से एकत्र किए गए सीसीटीवी फुटेज के जरिए उनकी गतिविधियों की पुष्टि की गई है। जांचकर्ताओं ने बताया कि वे अब डॉ. मुजम्मिल के संचार और डिजिटल फ़ुटप्रिंट का विश्लेषण कर रहे हैं ताकि मॉड्यूल की गतिविधियों के लिए धन और विस्फोटकों की प्राप्ति के स्रोत का पता लगाया जा सके। वे यह भी पता लगा रहे हैं कि क्या अन्य संदिग्धों ने भी इसी तरह की टोह ली थी या गिरफ्तार संदिग्धों को रसद सहायता प्रदान की थी।

 

Dinesh Kumar Purwar

Editor, Pramodan News

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