RO.No. 13047/ 78
राष्ट्रीय-अन्तर्राष्ट्रीय

सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव का उनके ही पार्टी कार्यकर्ता कर रहे विरोध

रामपुर

उत्तर प्रदेश की रामपुर लोकसभा सीट पर समाजवादी पार्टी दो फाड़ हो गई है। यहां सपा कार्यकर्ता अपने ही प्रत्याशी मोहिबुल्ला नदवी के खिलाफ हो गए हैं। सपा के पूर्व जिलाध्यक्ष और आजम खां के बेहद करीबी माने जाने वाले वीरेंद्र गोयल ने अखिलेश यादव से साफ कहा है कि आजम खां मेरे गुरु हैं। हम सपा प्रत्याशी मोहिबुल्लाह नदवी को चुनाव नहीं लड़ाएंगे। हम और हमारे कार्यकर्ता बसपा प्रत्याशी जीशान को ही सपोर्ट करेंगे। इसके बाद से पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारियों में खलबली मची है। रामपुर में पहले चरण के तहत 19 अप्रैल को ही मतदान होना है। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि इस उलझन को अखिलेश यादव कैसे सुलझाएंगे।

दरअसल, रामपुर लोकसभा सीट पर सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव बनाम राष्ट्रीय महासचिव आजम खां की जंग में नया मोड़ आ गया है। आजम खेमे के पूर्व जिलाध्यक्ष वीरेंद्र गोयल ने साफ तौर पर कहा है कि सपा प्रत्याशी मोहिबुल्लाह नदवी हमारे विरोधियों के साथ घूम रहे हैं। इसलिए हम उनका सपोर्ट नहीं करेंगे। उधर, सपा के जिलाध्यक्ष अजय सागर, प्रदेश सचिव अखिलेश गंगवार और ओमेन्द्र चौहान पहले से ही पार्टी प्रत्याशी के प्रचार से दूरी बनाए हैं। अब आजम खां के करीबी सपा के पूर्व जिलाध्यक्ष वीरेंद्र गोयल ने भी अखिलेश यादव का मुखर विरोध शुरू कर दिया है।

आजम खां के बेहद करीबी माने जाते हैं वीरेंद्र सिंह
वीरेंद्र गोयल आजम खां के बेहद करीबी माने जाते हैं। रामपुर में सपा कार्यालय पर प्रशासन के कब्जे के बाद वीरेंद्र गोयल ने अपने आवास में ही पार्टी कार्यालय खोल लिया है। बीते गुरुवार को उन्होंने कहा "पिछले चुनाव में लोगों को मारा पीटा गया, इसलिए हम चाहते थे कि अखिलेश यादव यहां से चुनाव लड़ें। दो दिन इंतजार कराया। तीसरे दिन कोई मौलाना साहब हैं, उन्हें भेज दिया। पहले हमने मौलाना साहब का बहिष्कार किया। अगले दिन आसिम राजा का पर्चा भरवाया, लेकिन आसिम राजा को पार्टी ने सिंबल नहीं दिया। हमने निर्णय लिया कि मौलाना कार्यालय आएंगे तो हम उनका प्रचार करेंगे, लेकिन मौलाना नहीं आए।"

वीरेंद्र गोयल ने आगे कहा "मौलाना उनके पास गए, जिन्होंने हमारे वोटरों को पिटवाया। भाजपा के पक्ष में बोलने वाले ही मौलाना को चुनाव लड़ा रहे हैं। उनका इशारा नवाब खानदान पर था। जिन्होंने 11 मुकदमे मेरे खिलाफ लिखवाए, मौलाना उनके घर जा रहे हैं। भले ही हमारा अपमान नहीं कर रहे, लेकिन इग्नोर तो कर रहे हैं। हम अखिलेश यादव को बंपर वोट से जिता कर भेजते। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि मेरा अपना निर्णय स्वतंत्र है। हम चाहते हैं कि भाजपा भी हारे और मौलाना भी। आजम खां का वोटर उनके इशारे पर ही जाएगा। मैं नदवी को नहीं जीशान को ही सपोर्ट करूंगा।"

दरअसल, इन दिनों आजम खां अपने बेटे अब्दुल्ला आजम के दो जन्म प्रमाण पत्र मामले में सात साल की सजा काट रहे हैं। बीते 22 मार्च को सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सीतापुर जेल में आजम खां से मुलाकात की थी। तब आजम ने अखिलेश यादव से रामपुर लोकसभा सीट पर चुनाव लड़ने को कहा था, लेकिन अखिलेश यादव ने यहां अपने भतीजे तेजप्रताप सिंह को चुनावी मैदान में उतारने पर चर्चा शुरू कर दी।

आजम खेमे ने इसका कड़ा विरोध किया। इसपर अखिलेश यादव दिल्ली के मौलाना मोहिबुल्लाह को सपा प्रत्याशी घोषित कर दिया। बीते दिनों प्रत्याशी मोहिबुल्लाह ने सपा जिलाध्यक्ष अजय सागर से उनके घर पर मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने पार्टी नेताओं से बात कर प्रचार के बारे में निर्णय लेने की बात कही, लेकिन अजय सागर ने उन्हें मना दिया। इसके बाद मोहिबुल्लाह ने कांग्रेस की पूर्व सांसद बेगम नूरबानो से मुलाकात की। इसके बाद कांग्रेस नेता मोहिबुल्लाह के साथ आ गए। आजम खेमा रामपुर में नवाब परिवार को अपना विरोधी मानता है। इसी के चलते सपा प्रत्याशी मोहिबुल्लाह नदवी से सपाइयों की नाराजगी बढ़ गई।

Dinesh Kumar Purwar

Editor, Pramodan News

RO.No. 13047/ 78

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button