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ओएसडी बनने मंत्रालय के चक्कर लगाते हैं प्रोफेसर, कुलपति तिवारी ने मुख्यमंत्री के भाषण की समीक्षा

भोपाल

उच्च शिक्षा विभाग में ओएसडी विशेष कर्तव्य अधिकारी बनने के लिऐ सूबे के प्रोफेसर खूब जोर लगाते हैं। इसलिये वे मंत्रालय के चक्कर भी काटते हैं। उच्च अधिकारियों से पटरी बैठ जाए तो प्रोफेसर ओएसडी की कुर्सी भी हासिल कर लेते हैं। ये कहना है कि भोज मुक्त विश्वविद्यालय के कुलपति संजय तिवारी का वे विवि में आयोजित गुर पूर्णिमा में आयोजित एक कार्यक्रम में बोल रहे थे। यहां तक उन्होंने मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के भाषण में समीक्षा तक कर दी। इससे सभागार में मौजूद सभी अधिकारी दंग रह गये।

सूबे के विश्वविद्यालय नियुक्त राज्य के मुख्यमंत्री के अधीन नहीं होते हैं। इसलिये मुख्यमंत्री अपनी बैठकों में कुलपतियों को नहीं बुलाते हैं। वे सिर्फ राज्यपाल के अधीन होते हैं। इसलिये अब राज्य के कुलपतियों ने उनके खिलाफ समीक्षा करना शुरू तक कर दिया है। ऐसा ही कुछ समीक्षा भोज मुक्त विश्वविद्यालय के कुलपति संजय तिवारी ने करना शुरू कर दिया है। उन्होंने विवि में आयोजित कार्यक्रम में कहाकि मुख्यमंत्री यादव ने जाम नगर में कृष्णा भगवान के एक प्रसंग को गलत बताया है। यहां तक यम के बेटे धनवंती के संबंध भी मुख्यमंत्री ने सही नहीं कहा है। मुख्यमंत्री यादव के ज्ञान को चुनौती देता देख कार्यक्रम में बैठे सभी अधिकारी और कर्मचारी दंग रह गये।

ओएसडी बनने बेकरार प्रोफेसर

कुलपति तिवारी ने अपने बिगडे बोल को बढाते हुए यहां तक कह दिया है कि कालेजों में पढाने वाले प्रोफेसर ओएसडी बनने के लिऐ काफी बेकरार रहते हैं। इसलिए वे मंत्रालय के चक्कर काटते हैं। उन्हें कालेजों में पढाने में ज्यादा रूचि नहीं रहती है। वे ओएसडी की कुर्सी हासिल करने के लिए काफी अतुर रहते हैं। कार्यक्रम समाप्त होने के बाद अधिकारी और कर्मचारी कुलपति तिवारी के खिलाफ शिकायत करने की बात कर रहे हैं कि कुलपति को अपनी मर्यादा नहीं लांघनी चाहिए। वे राज्य के मुख्यमंत्री की समीक्षा खुली सभा में नहीं करना चाहिए। ये उनके कदाचार में नहीं आता है।

Dinesh Purwar

Editor, Pramodan News

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